ICC मेंस टी 20 विश्वकप में वेस्टइंडीज की कमान पोलार्ड के हाथों में हैं.
दो बार की वर्ल्ड चैंपियन वेस्टइंडीज की टीम ने डेरेन सैमी की कप्तानी में दोनों बार खिताब जीता. हालांकि इस बार टीम को चैम्पियन बनाने की जिम्मेदारी अनुभवी बल्लेबाज पोलार्ड को सौंपी गयी है.
पोलार्ड ने काफी मुश्किलों को झेलते हुएऔर आलोचनाओं को सहते हुए यहाँ तक का सफर तय किया है. वेस्टइंडीज टीम के कप्तान पोलार्ड का जन्म पोर्ट ऑफ स्पेन के टकारीगुआ इलाके में हुआ था. गौरतलब है कि यह इलाका ट्रिनिडाड के सबसे कुख्यात इलाकों में से था.
यहां ड्रग्स, गांजा, गैंगबाजी और ह’त्या सामान्य बात थी. साथ ही गरीबी इस इलाके में चारों तरफ पसरी हुई थी. 14 साल किम उम्र में क्लब में एंट्री नहीं मिलने पर पोलार्ड 14 दिन बाद 15 वर्ष की अवस्था हासिल करने पर फिर क्लब गये. यहां पूछा गया कि वे क्या करते हैं.
पोलार्ड सवाल के जवाब में कहा कि वह बल्लेबाजों के सिर तोड़ते हैं. हालांकि नेट प्रैक्टिस के दौरान उन्होंने सबसे पहले बैट उठाया. कप्तान पोलार्ड महज 25 साल की उम्र में वे दुनियाभर की टी20 लीग्स में खेलने लग गए थे.
पोलार्ड अलग-अलग देशों की 18 फ्रेंजाइिजयों की तरफ से क्रिकेट खेल चुके हैं. पोलार्ड ने बताया कि क्रिकेट खेलने के लिए उन्हें काफी कुर्बानियां देनी पड़ीं. शुरुआती दिनों में घर में गिने-चुने पैसे थे.
मां को ही घर चलाना होता था और उस समय आसपास काफी अपराध होता था. दुनिया के तूफानी बल्लेबाजों में से एक पोलार्ड के नाम टी20 क्रिकेट में 11232 रन, 300 विकेट और 313 कैच हैं.